
ख़बर रफ़्तार,जयपुर: जयपुर के शास्त्री नगर स्थित कांवटिया अस्पताल में जब एक एक गर्भवती महिला डिलेवरी के लिए पहुंचती है तो उसको कुछ डॉक्टर अस्पताल में भर्ती करने से मना कर देते हैं। महिला के पेट में दर्द शुरू होता है और वह अस्पताल के गेट पर ही डिलेवरी करने को मजबूर हो जाती है। इस घटना का विडियो बनता है और वह वायरल हो जाता है जिसके बाद इसपर एक्शन की डिमांड होती है। इस मामले में तीन डॉक्टरों को लापरवाही के आरोप में निलंबित कर दिया गया है।
एक आधिकारिक बयान के अनुसार, चिकित्सा शिक्षा विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव शुभ्रा सिंह ने कहा कि मामला सामने आने के बाद विभाग ने तत्काल प्रभाव से एक जांच समिति गठित की है।
बयान में कहा गया है कि समिति की रिपोर्ट पर कार्रवाई करते हुए, कांवटिया अस्पताल के तीन रेजिडेंट डॉक्टरों – कुसुम सैनी, नेहा राजावत और मनोज को उनकी ओर से हुई ‘गंभीर लापरवाही और असंवेदनशीलता’ पाए जाने के बाद गुरुवार को निलंबित कर दिया गया।
परिजनों ने डॉक्टर से की विनती
बता दें कि बुधवार देर शाम प्रसव पीड़ा से परेशान महिला को लेकर उसके स्वजन कांवटिया अस्पताल पहुंचे तो वहां मौजूद चिकित्सकों एवं स्वास्थ्यकर्मियों ने उसे शहर के जनाना अस्पताल लेकर जाने के लिए कहा। स्वजनों ने डॉक्टरों से महिला की स्थिति काफी खराब होने की बात कही। लेकिन न तो चिकित्सकों ने उनकी सुनवाई की और न ही स्वास्थ्यकर्मियों ने महिला को वार्ड में ले जाने दिया। काफी देर तक गुहार लगाने के बाद स्वजनों ने महिला को अस्पताल के द्वार पर चबूतरे पर लेटा दिया।
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