खबर रफ़्तार, बड़कोट(उत्तरकाशी): यमुना का पानी अभी भी पुल के निचले हिस्से को छूकर बह रहा है जिससे वाहनों की आवाजाही शुरू नहीं हो पाई है। वहीं, अन्य जगहों पर भी हाईवे बंद है।
यमुनोत्री हाईवे दसवें दिन भी वाहनों की आवाजाही के लिए नहीं खुल सका है। वहीं, पूरे क्षेत्र में विद्युत आपूर्ति भी बहाल नहीं हो सकी है। उधर, स्यानाचट्टी में यमुना का बहाव रुकने से बनी झील के कारण यहां यमुनोत्री हाईवे पर मुश्किलें बढ़ गई हैं। स्यानाचट्टी में झील का जलस्तर बढ़ने से पानी पुल के ऊपर से बहने लगा जिसके बाद पुलिस ने सुरक्षा को देखते हुए पुल के दोनों ओर बैरियर लगाकर आवाजाही रोक दी। दिन में स्थिति सामान्य हुई लेकिन यमुना का पानी अभी भी पुल के निचले हिस्से को छूकर बह रहा है जिससे वाहनों की आवाजाही शुरू नहीं हो पाई है।
जंगलचट्टी और नारदचट्टी के पास यमुनोत्री हाईवे पिछले 11 दिनों से बंद है। वहीं, सिलाई बैंड के पास भी दूसरे दिन आवाजाही बाधित रही। यहां लगातार पहाड़ी से चट्टानी पत्थर गिर रहे हैं जिससे हाईवे खोलने का काम बेहद खतरनाक हो गया है। एनएच के ईई मनोज रावत ने बताया कि जोखिम भरा होने के बावजूद सड़क खोलने का प्रयास किया जा रहा है।
यमुनोत्री क्षेत्र के गांवों में पांचवें दिन भी बिजली गुल, लोग परेशान
यमुनोत्री धाम और गीठ पट्टी के आधा दर्जन गांवों में लगातार पांचवें दिन भी बिजली नहीं आ पाई है जिससे पूरे क्षेत्र में अंधेरा छाया हुआ है। बिजली न होने से लोगों के मोबाइल फोन भी काम नहीं कर रहे हैं जिससे उनका संपर्क अपने परिजनों से टूट गया है। यमुनोत्री मंदिर समिति के प्रवक्ता पुरुषोत्तम उनियाल, मनमोहन उनियाल, क्षेत्र पंचायत सदस्य अमिता पंवार आदि ने बताया कि क्षेत्र में लगातार हो रही बारिश के कारण यमुनोत्री हाईवे पर हनुमान चट्टी के पास बिजली की लाइन क्षतिग्रस्त हो गई है। इसके चलते यमुनोत्री धाम, नारायण पुरी, जानकीचट्टी, खरसाली, बनास, फूलचट्टी और दुर्बिल जैसे इलाकों में पिछले चार दिनों से बिजली की सप्लाई पूरी तरह ठप है। कहा कि बिजली नहीं होने के चलते वे रात में अंधेरे में रहने को मजबूर हैं। बारिश होने के कारण लोगों में रात को दहशत का महौल बना रहता है। वहीं बजली सप्लाई बंद होने से लोगों के मोबाइल भी चार्ज नहीं हो पा रहे हैं। जिससे वह अपने परिजनों से भी संपर्क नहीं कर पा रहे हैं। क्षेत्र के लोगों ने विभाग से जल्द से जल्द बिजली बहाल करने की मांग की है। इधर, विद्युत विभाग के एसडीओ अजय सेमवाल ने बताया कि हाईवे जगह-जगह बंद होने के कारण उनकी टीम हनुमान चट्टी तक नहीं पहुंच पा रही है। उन्होंने उम्मीद जताई कि सड़क खुलने में दो दिन और लगेंगे जिसके बाद ही लाइन को ठीक करने का काम शुरू हो पाएगा।
दीपक और मोमबत्ती के सहारे हो रही यमुनोत्री धाम में आरती
पिछले दो दिनों से यमुनोत्री धाम में बिजली आपूर्ति बाधित होने के कारण वहां के तीर्थ पुरोहितों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। बिजली न होने से मां यमुना की सांयकालीन आरती दीपक और मोमबत्ती की रोशनी में की जा रही है।
गीठ और यमुनोत्री क्षेत्र में आई आपदा का असर अब धाम पर भी दिख रहा है। पिछले दो दिनों से गीठ पट्टी के चार गांवों के साथ-साथ यमुनोत्री धाम में भी बिजली गुल है। इसके अलावा नेटवर्क सुविधा भी ठप होने की कगार पर है जिससे संचार सीमित हो गया है। यमुनोत्री मंदिर समिति के रसोइए धनंजय नैथानी ने बताया कि बिजली और नेटवर्क न होने से पूरा धाम अंधेरे में डूबा हुआ है। मंदिर समिति के कोषाध्यक्ष प्रदीप उनियाल ने बताया कि समिति ने धाम में एक जनरेटर की व्यवस्था की थी लेकिन बरसात के कारण उसमें तकनीकी खराबी आ गई है। पिछले 11 दिनों से क्षेत्र में आवाजाही बंद होने के कारण किसी मैकेनिक को वहां नहीं भेजा जा सका है और अब जनरेटर के लिए तेल की भी कमी होने लगी है।
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