ख़बर रफ़्तार, नई दिल्ली: तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा के पैसे लेकर संसद में सवाल पूछने का मामला गरमाता जा रहा है। अब इस मामले में केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है।
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यह वाकई चौंकाने वाला और शर्मनाक है’
राजीव चंद्रशेखर ने सोशल मीडिया ‘एक्स’ पर दो फोटो शेयर करते हुए कहा कि मुझे समाचार रिपोर्टों से पता चला है कि यह संसदीय प्रश्न संभवतः एक डेटा सेंटर कंपनी के आदेश पर एक सांसद द्वारा पूछा गया था। अगर यह सच है तो यह वाकई चौंकाने वाला और शर्मनाक है।
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यह भयानक उपहास और पीक्यू का दुरुपयोग है’
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मुझे इसके पूरे तथ्य या पृष्ठभूमि की जानकारी नहीं है, लेकिन अगर यह सच है तो यह एक भयानक उपहास और पीक्यू का दुरुपयोग है। उन्होंने कहा कि यह सच है कि यह कंपनी डेटा स्थानीयकरण के लिए सक्रिय और आक्रामक तरीके से पैरवी कर रही थी। इस कंपनी के प्रमुख ने मुझसे मुलाकात भी की थी।
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भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने की महुआ मोइत्रा की शिकायत
गौरतलब है कि भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर आरोप लगाया था कि महुआ मोइत्रा ने अब तक सदन में जो 61 सवाल पूछे हैं, उसमें से 50 सवाल उद्योगपति दर्शन हीरानंदानी के कारोबार से जुड़े हुए हैं। निशिकांत ने बताया कि दिल्ली के अधिवक्ता जय अनंत देहाद्रई ने इस मामले की पूरी पड़ताल की है।
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खतरे में महुआ मोइत्रा की सदस्यता
बता दें, टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा पर लगे आरोप से उनकी सदस्यता भी अब खतरे में पड़ गई है। साल 2005 में ऐसे ही एक मामले में 11 संसद सदस्यों की सदस्यता चली गई थी।
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