कड़ाके की ठंड: UP में 12वीं तक के सभी स्कूल बंद, टूटा 13 साल का रिकॉर्ड

ख़बर रफ़्तार, मोदीपुरम (मेरठ) : कड़ाके की ठंड और घने कोहरे के कारण उत्तर प्रदेश में 12वीं तक के सभी स्कूल बंद कर दिए गए हैं। मेरठ में 13 साल का रिकॉर्ड टूट गया है। मेरठ नैनीताल से भी ठंडा रहा है।

समूचे उत्तर भारत में कड़ाके की ठंड और घने कोहरे का कहर जारी है। पहाड़ों पर बर्फबारी और वहां से आ रही सर्द पछुआ हवाओं के साथ घने कोहरे ने यूपी में लोगों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। इसे देखते हुए 12वीं तक आईसीएसई, सीबीएसई व यूपी बोर्ड के सभी स्कूलों को एक जनवरी तक बंद कर दिया गया है।

मौसम विभाग के अनुसार, अगले तीन दिनों तक गलन और कोहरे से राहत की संभावना नहीं है। वहीं, सहारनपुर, बिजनौर और मुजफ्फरनगर में रविवार का दिन सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा। मेरठ में ठंड ने 13 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया। मेरठ नैनीताल से भी ठंडा रहा।

घने कोहरे की वजह से आगरा, प्रयागराज, कानपुर और सहारनपुर में दृश्यता शून्य हो गई। वहीं फतेहपुर में 10 मीटर, मेरठ में 15 मीटर और हमीरपुर में 20 मीटर दृश्यता दर्ज हुई। 6.7 डिग्री न्यूनतम तापमान के साथ मेरठ और इटावा में सबसे ठंडी रात रही।

पश्चिमी व पूर्वी हिस्सों में शीत दिवस की स्थिति बनी रही। बिजनौर में अधिकतम तापमान 19.6 और न्यूनतम तापमान 4.6 डिग्री दर्ज किया गया। शामली जिले में शनिवार रात से शुरू हुआ घना कोहरा रविवार दोपहर तक छाया रहा।
UP School Closed Cold weather and fog all schools up to class 12 closed in UP 13-year record broken in Meerut
नैनीताल से भी ठंडा रहा मेरठ, 13 साल का रिकॉर्ड टूटा
मेरठ में रविवार को ऐसा सर्द दिन दर्ज हुआ, जिसने पिछले 13 वर्षों का रिकॉर्ड तोड़ दिया। दिनभर सूरज बादलों और कोहरे के पीछे छिपा रहा, जबकि शहर से लेकर देहात तक घने कोहरे की चादर तनी रही। हालात ऐसे बने कि मेरठ पहाड़ों की रानी नैनीताल से भी ज्यादा ठंडा रहा। 
मेरठ का अधिकतम तापमान 16.6 डिग्री और नैनीताल का अधिकतम तापमान 16.8 डिग्री रिकॉर्ड किया गया। जबकि न्यूनतम तापमान नैनीताल का 8 डिग्री सेल्सियस और मेरठ का 6.7 डिग्री सेल्सियस रहा। इससे जनजीवन प्रभावित हुआ है।
UP School Closed Cold weather and fog all schools up to class 12 closed in UP 13-year record broken in Meerut
वेस्ट यूपी के अधिकांश जिलों में घना कोहरा और कड़ाके की ठंड का असर लगातार बढ़ता जा रहा है। सुबह और रात के समय दृश्यता बेहद कम रहने से सड़कों और हाईवे पर वाहन चालकों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। कई स्थानों पर दृश्यता शून्य के करीब पहुंच गई, जिससे दुर्घटनाओं की आशंका बनी रही। वाहन चालकों को दिन में भी हेडलाइट जलाकर धीमी गति से चलना पड़ा।
रविवार को अवकाश का दिन होने के बावजूद बाजारों में रौनक बेहद कम रही। लोग कड़ाके की ठंड से बचने के लिए घरों में ही दुबके रहे। सर्द हवाओं और कम तापमान के चलते जनजीवन ठहर सा गया है। ठंड से बचाव के लिए लोग अलाव, हीटर और गर्म कपड़ों का सहारा ले रहे हैं। सबसे अधिक परेशानी बुजुर्गों, बच्चों और दिहाड़ी मजदूरों को उठानी पड़ रही है, जिनके लिए इस ठंड में घर से बाहर निकलना मजबूरी बन गया है।
चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की मौसम वेधशाला के अनुसार रविवार को मेरठ का न्यूनतम तापमान 6.7 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के मौसम वैज्ञानिक डॉ. यूपी शाही ने बताया कि आने वाले दिनों में ठंड और कोहरे से फिलहाल राहत मिलने की संभावना नहीं है। नए साल पर भी मौसम इसी तरह सर्द बना रहने की आशंका है।
ठंड के साथ-साथ प्रदूषण ने भी लोगों की परेशानी बढ़ा दी है। दिसंबर माह में एनसीआर क्षेत्र की हवा लगातार खराब श्रेणी में बनी हुई है। रविवार को मेरठ का एयर क्वालिटी इंडेक्स 298 दर्ज किया गया, जो खराब श्रेणी में आता है। गंगानगर में 237, जयभीम नगर में 355, पल्लवपुरम में 301, बेगमपुल में 325 और दिल्ली रोड पर 342 एक्यूआई दर्ज किया गया। सबसे अधिक प्रदूषण जयभीम नगर क्षेत्र में रिकॉर्ड किया गया, जहां प्रदूषण स्तर मानक से कई गुना अधिक रहा।
यह है पिछला रिकॉर्ड
पिछले 13 वर्षों के आंकड़ों पर नजर डालें तो 28 दिसंबर को इतना कम अधिकतम तापमान पहले कभी दर्ज नहीं किया गया। वर्ष 2013 से 2024 तक अधिकतम तापमान 17.9 से 23.3 डिग्री के बीच रहा, जबकि इस वर्ष यह गिरकर 16.6 डिग्री पर पहुंच गया।
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ठंड की खास वजह
मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार इस बार ठंड ज्यादा पड़ने के पीछे कई कारण हैं। डॉ. यूपी शाही के मुताबिक ला नीना का प्रभाव, उत्तर और उत्तर-पूर्व से आ रही ठंडी व सूखी हवाएं, साफ आसमान के कारण रात में तेजी से गर्मी का निकलना और पश्चिमी विक्षोभ की कमी प्रमुख वजहें हैं। जलवायु परिवर्तन के चलते मौसम के पैटर्न में हो रहे बदलाव भी अचानक कड़ाके की ठंड का कारण बन रहे हैं।
कोहरे से बचाव के लिए सावधानी जरूरी
मौसम और प्रशासन ने लोगों से सावधानी बरतने की अपील की है। वाहन चलाते समय गति कम रखें, हेडलाइट लो बीम पर रखें और आगे चल रहे वाहन से पर्याप्त दूरी बनाए रखें। कोहरा अधिक होने पर अनावश्यक यात्रा से बचें। यदि रुकना जरूरी हो तो सुरक्षित स्थान पर वाहन खड़ा कर लाइट जलाकर रखें। घर के अंदर भी गर्म कपड़े पहनें और ठंड से बचाव के सभी उपाय अपनाएं।
तीन दिनों तक प्रदेश में गलन और कोहरे से राहत नहीं
आंचलिक मौसम विज्ञान केंद्र लखनऊ के वरिष्ठ वैज्ञानिक अतुल कुमार सिंह ने बताया कि उत्तर प्रदेश में अगले तीन दिनों तक ठंड और कोहरे से राहत के आसार नहीं हैं। अगले तीन दिनों के लिए प्रदेश के ज्यादातर हिस्सों में कोहरे का प्रकोप रहेगा। इसके बाद दिन में हल्की धूप और पारे में मामूली बढ़त से राहत की परिस्थितियां बनेंगी।
इन जिलों में है घने कोहरे का ऑरेंज अलर्ट
कौशांबी, प्रयागराज, फतेहपुर, प्रतापगढ़, श्रावस्ती, बहराइच, लखीमपुर खीरी, सीतापुर, हरदोई, फरुखाबाद, कन्नौज, कानपुर देहात, कानपुर नगर, रायबरेली, अमेठी, सुल्तानपुर, सहारनपुर, शामली, मुजफ्फरनगर, मथुरा, हाथरस, कासगंज, एटा, आगरा, फिरोजाबाद, मैनपुरी, इटावा, औरैया, बिजनौर, अमरोहा, मुरादाबाद, रामपुर, बरेली, पीलीभीत, शाहजहांपुर, संभल, बदायूं व आसपास के इलाकों में।
अति शीत दिवस होने की संभावना इस क्षेत्र में अधिक है
प्रयागराज, वाराणसी, भदोही, बहराइच, सीतापुर, हरदोई, कानपुर नगर, उन्नाव, लखनऊ, बाराबंकी, रायबरेली, अयोध्या व आसपास के इलाकों में।

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