पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने कहा कि उनके बयान को गलत तरीके से प्रस्तुत किया जा रहा, 22 वर्षों के संदर्भ में दिया था कमीशनखोरी पर बयान

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ख़बर रफ़्तार ,देहरादून: पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने कहा कि उत्तराखंड में उत्तर प्रदेश के मुकाबले कमीशनखोरी बढ़ने पर उनके बयान को गलत तरीके से प्रस्तुत किया जा रहा है। उन्होंने यह बयान उत्तराखंड गठन के बाद के 22 वर्षों पर दिया था। यह किसी सरकार विशेष के खिलाफ नहीं था। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का भ्रष्टाचार के खिलाफ अभियान और रोजगार देने के विषय तत्परता सराहनीय है।

बयान इंटरनेट मीडिया पर हुआ था वायरल

पूर्व मुख्यमंत्री एवं पौड़ी से सांसद तीरथ सिंह रावत का एक बयान कुछ समय पहले इंटरनेट मीडिया में तेजी से प्रचारित हुआ। इसमें उन्होंने इसके लिए सीधे अधिकारियों व जनप्रतिनिधियों को ही निशाने पर लिया था। उन्होंने कहा था कि उत्तर प्रदेश के समय में 20 प्रतिशत तक कमीशन लिया जाता था। अलग राज्य बनने के बाद यह शून्य हो जाना चाहिए था, लेकिन यहां कमीशन की शुरुआत ही 20 प्रतिशत से हुई है। इस भ्रष्टाचार को समाप्त करने के लिए अधिकारियों व जनप्रतिनिधियों को सोचना होगा।

बयान को गलत संदर्भ में पेश किया जा रहा

अब इस पर पूर्व मुख्यमंत्री ने एक बार फिर स्थित स्पष्ट की है। उन्होंने कहा कि उन्होंने यह कभी नहीं कहा कि कमीशन किस सरकार में ज्यादा बढ़ा। जो उन्होंने कहा उसे गलत संदर्भ में पेश किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भ्रष्टाचार के खिलाफ शानदार काम कर रहे हैं। तमाम भ्रष्टाचारियों को जेल में डाला गया है, चाहे वह कितनी ही पहुंच वाला अथवा कद्दावर हो।

परिवादियों व पर्यटकों को मिलेगी राहत: माहरा

नैनीताल हाईकोर्ट को हल्द्वानी स्थानांतरित करने के मंत्रिमंडल के निर्णय का कांग्रेस ने समर्थन किया है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि हाईकोर्ट को हल्द्वानी स्थानांतरित करने से पर्यटन उद्योग एवं पर्यटकों को राहत मिलेगी। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा ने इंटरनेट मीडिया पर अपनी पोस्ट में कहा कि हल्द्वानी में हाईकोर्ट स्थानांतरण से परिवादियों को न्याय सुलभ होगा। साथ में परिवहन से जुड़ी समस्याओं का समाधान भी होगा।

नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि हाईकोर्ट के कारण नैनीताल पर कई तरह का दबाव रहा है। हल्द्वानी में स्थानांतरित किए जाने से हर क्षेत्र के निवासियों को सुविधा मिलेगी। साथ में पर्यटकों को भी राहत रहेगी। यद्यपि उन्होंने सर्वसम्मति से यह निर्णय नहीं लेने के लिए सरकार की आलोचना भी की। उन्होंने कहा कि नैनीताल में व्यापारियों को होने वाले नुकसान से बचाने पर भी विचार होना चाहिए।

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