खबर रफ़्तार, नई दिल्ली : सीआरपीएफ के महानिदेशक जीपी सिंह ने बल मुख्यालय, नई दिल्ली स्थित हेरिटेज क्लब में अपना बीएमआई दर्ज कराकर बॉडी मास इंडेक्स (BMI) अभियान का औपचारिक शुभारंभ किया। इस पहल का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि प्रत्येक जवान और अधिकारी स्वस्थ एवं सक्षम रहे, जिससे सीआरपीएफ एक ‘फिट फोर्स’ और अधिक सशक्त ‘फाइटिंग फोर्स’ के रूप में स्थापित हो।
केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) ने अपने कार्मिकों के लिए एक विशेष स्वास्थ्य एवं फिटनेस अभियान की शुरुआत की है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से ‘मन की बात’ कार्यक्रम और स्वतंत्रता दिवस 2025 के संबोधन में नागरिकों से मोटापा कम करने और बेहतर स्वास्थ्य अपनाने का आह्वान किए जाने से प्रेरित होकर ऐसा किया गया है।
मंगलवार को सीआरपीएफ के महानिदेशक जीपी सिंह ने बल मुख्यालय, नई दिल्ली स्थित हेरिटेज क्लब में अपना बीएमआई दर्ज कराकर बॉडी मास इंडेक्स (BMI) अभियान का औपचारिक शुभारंभ किया। इस पहल का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि प्रत्येक जवान और अधिकारी स्वस्थ एवं सक्षम रहे, जिससे सीआरपीएफ एक ‘फिट फोर्स’ और अधिक सशक्त ‘फाइटिंग फोर्स’ के रूप में स्थापित हो।
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- चरण I: सभी कार्मिकों का बीएमआई वरिष्ठ अधिकारियों एवं चिकित्सकों की देखरेख में दर्ज किया जाएगा। निर्धारित मानक से अधिक बीएमआई वाले कार्मिकों को तीन माह के कालखंड में संतुलित आहार, शारीरिक व्यायाम तथा पर्यवेक्षित प्रशिक्षण कार्यक्रम द्वारा बीएमआई संतुलित करने का अवसर दिया जाएगा। तीन माह पश्चात उनकी प्रगति का आकलन किया जाएगा।
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- चरण II: जो कार्मिक तीन महीनों में निर्धारित बीएमआई मानक प्राप्त करने में सफल नहीं होंगे, उन्हें तीन चयनित विशेष प्रशिक्षण केंद्रों पर संरचित कार्यक्रमों के अंतर्गत भेजा जाएगा। इन कार्यक्रमों में व्यायाम, उचित मार्गदर्शन एवं उचित पोषण के माध्यम से मानक वजन प्राप्त करने का उचित माध्यम प्रदान किया जाएगा।
बल में स्वास्थ्य एवं फिटनेस के प्रति जागरूकता बढ़ाना
जीवनशैली से संबंधित रोगों की रोकथाम
मोटापे पर नियंत्रण रखकर पेशेवर क्षमता बनाए रखना
यह पहल आने वाले वर्षों में सीआरपीएफ को और अधिक स्वस्थ, सतर्क एवं प्रभावी बनाने में महत्त्वपूर्ण योगदान देगी।
यह भी जानिए
1. बीएमआई के आकलन में माँसपेशियों के भार एवं अस्थि घनत्व को उचित महत्व दिया जाएगा।
2. 58 वर्ष से कम आयु वाले सभी कार्मिकों के लिए बीएमआई दर्ज कराना अनिवार्य होगा, जबकि 58 से 60 वर्ष आयु वर्ग के लिए यह स्वैच्छिक होगा।
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